दशविध स्नान क्या है – दशविध स्नान में सभी पांच तत्व- पृथ्वी, जल, तेज, वायु और आकाश, इन सभी को देव प्रतिमा में प्रतिष्ठित किया जाता है। प्रथम दिन जलाधिवास, इसके उपरांत अन्नाधिवास, फिर फ्लाधिवास, इसके पश्चात वस्त्रदिवस आदि अधिवासों के द्वारा देव प्रतिमा में सभी प्राकृतिक वस्तुओं को समाहित कराया जाता है।तात्पर्य है कि सनातन धर्म में देव प्रतिमा के साथ-साथ प्रकृति की भी उपासना की जाती है।राम मंदिर अनुष्ठान और कार्यक्रम विवरण।16 जनवरी 2024- दशविध स्नान17 जनवरी 2024- गणेश अम्बिका पूजा18 जनवरी 2024- वरुण पूजा19 जनवरी 2024- नवग्रह स्थापना20 जनवरी 2024- वास्तु शांति एवं अन्नाधिवास21 जनवरी 2024- शयाधिवास22 जनवरी 2024- रामलला का पूजन एवं अभिषेक
रामलला की मूर्ति को 16 जनवरी को कराया जाएगा दशविध स्नान, इस वैदिक अनुष्ठान का जानिए महत्व।
